मुम्बई। गोवा में आयोजित हुए 48वें इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल आॅफ इंडिया में केरल हाईकोर्ट के आदेश के बावजूद भी सनल कुमार शशिधरन निर्देशित मलयालम फिल्म एस दुर्गा प्रदर्शित नहीं हो सकी।
दिलचस्प बात तो यह है कि सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय की ओर से अदालती फैसले पर रोक लगाने के लिए दायर की याचिका भी शुक्रवार को केरल हाईकोर्ट की तरफ से खारिज कर दी गई थी।
अधिकारियों की ओर से फिल्म एस दुर्गा की स्क्रीनिंग कैंसिल किए जाने की जानकारी मिलने के बाद फिल्म निर्देशक सनल कुमार शशिधरण ने फिल्म अभिनेता कन्नन नायर के साथ फिल्मोत्सव स्थल पर लोकतंत्र बचाओ की तख्ती लिए शांतिमय रोष प्रदर्शन किया।
मिली जानकारी के अनुसार फिल्म एस दुर्गा को 11 सदस्यीय ज्यूरी ने देखा और फिल्म एस दुर्गा के हक में 7 मत भी आए। केरल हाईकोर्ट के आदेश और स्क्रीनिंग बहुमत के बाद भी फिल्मकार सनल कुमार की एस दुर्गा फिल्मोत्सव में जौहर नहीं दिखा सकी क्योंकि अधिकारियों की ओर से फिल्म एस दुर्गा के शीर्षक में त्रुटि पाने जाने की बात कही गई।
फिल्मोत्सव के अंतिम दिन केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड की ओर से फिल्म निर्माता को एक सूचना पत्र जारी कर बताया गया कि उनकी फिल्म एस दुर्गा के शीर्षक में त्रुटि पाई गई है। ऐसे में केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड को फिर से निरीक्षण करना होगा।’
बुधवार को सोशल मीडिया खाते पर फिल्मकार सनल कुमार शशिधरन ने लिखा, ‘मैं इस कदम से नाखुश नहीं हूं। मैं तो पहले से ज्यादा खुश हूं क्योंकि मेरी फिल्म उन लोगों की मदद करेगी, जो मुझसे पूछते थे कि यदि संघ सत्ता में आ जाए तो क्या होगा? अब वह आसानी से समझ सकते हैं कि समस्या कहां है। वह इस समय सत्ता में हैं, और जो उनको पसंद नहीं है, उसको खत्म करने के लिए किसी भी हद तक जा सकते हैं। वह अपने स्वार्थ के लिए कानून का गलत इस्तेमाल कर सकते हैं या अदालतों को नजरअंदाज सकते हैं।’
फिल्मकार सनल कुमार शशिधरन ने आगे दावा किया कि उनकी फिल्म एस दुर्गा की स्क्रीनिंग को रोकने के लिए केंद्रीय सूचना और प्रसारण मंत्रालय की गंदी राजनीति के कारण सरकार के हक में बोलने वाले भी पिछले दो तीनों दिनों से निराशा महसूस कर रहे हैं।