मुंबई। दिल्ली उच्च न्यायालय ने बुधवार को पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या और वर्ष 1984 के सिख विरोधी दंगों पर बनी फिल्म ’31 अक्टूबर’ की रिलीज के खिलाफ दायर याचिका खारिज कर दी।
मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति जी. रोहिणी और न्यायमूर्ति संगीता ढींगरा सहगल ने फिल्म 31 अक्टूबर के खिलाफ याचिका पर यह कहते हुए विचार करने से इंकार कर दिया कि याचिकाकर्ता ने न्यायालय का दरवाजा खटखटाने से पहले केंद्रीय फिल्म प्रमाणन बोर्ड (सीबीएफसी) से संपर्क नहीं किया।
अदालत द्वारा याचिका पर सुनवाई से इंकार करने के बाद याचिकाकर्ता ने इस जनहित याचिका (पीआईएल) को वापस ले लिया।
याचिका में आरोप लगाया गया था कि अभिनेत्री सोहा अली खान और वीर दास की अहम भूमिकाओं वाली यह फिल्म देश के धर्मनिरपेक्ष ताने-बाने पर हमला करती है और देश की सबसे पुरानी पार्टी की विचारधारा के विपरीत है।
याचिका में कहा गया है, ‘फिल्म के ट्रेलर में जो भी दिखाया गया है, उससे स्पष्ट है कि किरदारों के अभिनय और संवाद आक्रामक चरित्र के हैं, और इनमें निभाए गए चरित्रों की छवि खराब करने के सभी अवयव हैं, और ये आक्रामक हैं।’
अजय कटारा द्वारा दाखिल याचिका में फिल्म रिलीज होने से पहले कुछ ‘आपत्तिजनक’ दृश्यों को हटाने की भी मांग की गई थी। याचिका में कहा गया है कि फिल्म में कई दृश्य ऐसे हैं, जो देश की एक प्रमुख राजनीतिक हस्ती के खिलाफ हैं। याचिकाकर्ता ने हालांकि याचिका में किसी नेता का नाम नहीं लिया है।
फिल्म ’31 अक्टूबर’ के लेखक-निर्देशक हैरी सचदेवा ने कहा, ‘इस विषय पर काम शुरू करने के बाद से यह एक मुश्किल यात्रा थी, लेकिन मैंने हार नहीं मानी और न अब मानेंगे। सेंसर से अब धमकी मिल रही है। हम मजबूती से यह फिल्म बड़े पर्दे पर आगे लेकर जाएंगे और लोग इस विषय को बाहर लाना चाहते हैं। दुनिया को 1984 की वास्तविकता बताने से कोई रोक नहीं सकता।’
मैजिक ड्रीम्स प्रोडक्शंस प्राइवेट लिमिटेड, पैनोरमा स्टूडियो, आनंद प्रकाश और हैरी सचदेवा द्वारा सह-निर्मित फिल्म में सोहा और वीर प्रमुख भूमिकाओं में हैं। यह शिवाजी लोटन पाटील द्वारा निर्मित है। -आईएएनएस
चलते चलते…
अभिनेत्री सोहा अली खान और वीर दास अभिनीत फिल्म ’31 अक्टूबर’ को 7 अक्टूबर की जगह अब 21 अक्टूबर को रिलीज किया जाएगा।